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प्रश्न. राजनीतिशास्त्र का समाजशास्त्र से सम्बन्ध बताइये।
अथवा
“राजनीति उन समस्त शास्त्रों से सम्बन्धित है जो संगठित समाज में मनुष्यों से सम्बन्ध रखते हैं”व्याख्या कीजिये।
उत्तर-राजनीति विज्ञान तथा समाजशास्त्र-
राजनीतिशास्त्र का समाजशास्त्र से सम्बन्ध-समाजशास्त्र सामाजिक जीवन तथा सामाजिक समुदायों का अध्ययन करता है। यह व्यक्तियों के समूह के रूप में समाज तथा व्यक्ति के सभी प्रकार के सम्बन्धों का अध्ययन करता है। गिलक्राइस्ट के अनुसार, “समाजशास्त्र एक सामान्य सामाजिक विज्ञान है। यह सामाजिक जीवन के मूलभूत तथ्यों का अध्ययन करता है।” यह बतलाता है कि समाज तथा समाज की संस्थाओं जैसे परिवार, जाति, धर्म, राज्य, सरकार तथा विभिन्न समुदायों की रचना कैसे, क्यों और कब हुई? राजनीति विज्ञान समाजशास्त्र का एक विशेष अंग है जो रजनीतिक पहलू से सम्बन्धित है।” दूसरे शब्दों में कहा जा सकता है कि समाजशास्त्र सभी सामाजिक विज्ञानों की जननी है और राजनीति विज्ञान केवल उसकी एक शाखा मात्र है। रेटजन हाफर (Ratzen Hafer) के अनुसार, “राज्य एक सामाजिक तथा राजनीतिक संगठन है। अपने प्रारम्भिक रूप में यह राजनीतिक संस्था है। राजनीतिक तथ्यों का आधार सामाजिक तथ्य हैं। यदि राजनीति विज्ञान समाजशास्त्र से भिन्न है तो उसका कारण यही है कि उसके विस्तृत क्षेत्र के समुचित अध्ययन के लिए विशेषज्ञों की आवश्यकता होती है। यह विभाजन समाजशास्त्र के मध्य विभाजन का कारण नहीं बन सकता है।”
राजनीतिशास्त्र का समाजशास्त्र से सम्बन्ध
राजनीति विज्ञान तथा समाजशास्त्र के पारस्परिक सम्बन्ध को निम्न प्रकार प्रस्तुत किया जा सकता है-
1. राजनीति विज्ञान समाजशास्त्र का एक विशेष अंग है-राजनीति विज्ञान समाजशास्त्र का ही अंग है। राज्य जो राजनीति विज्ञान का प्रतिपाद्य विषय है, समाज का एक अंग है। इसलिये राजनीति विज्ञान के सही अध्ययन के लिए समाजशास्त्र का ज्ञान आवश्यक है। इस संबंध में गिडिंग्स (Giddings) का कथन है कि “समाज के मूल सिद्धान्तों से अनभिज्ञ व्यक्ति को राजनीति विज्ञान पढ़ाना उसी प्रकार है जैसे न्यूटन के गति सम्बन्धी नियमों से अनभिज्ञ व्यक्ति को खगोल विद्या, उष्णता अथवा यन्त्र-क्रिया विद्या से सम्बन्धित विज्ञान की शिक्षा देना।“ बर्गेस का कथन है कि “मनुष्य अपने जीवन का निन्यान्बे प्रतिशत भाग राज्य के उदय से पूर्व व्यतीत कर चुका था।” इस तरह समाजशास्त्र राजनीति विज्ञान का पूर्वगामी, जन्मदाता तथा आधार है।
2. राजनीति विज्ञान तथा समाजशास्त्र एक-दूसरे पर निर्भर करते हैं-जहाँ राजनीति विज्ञान समाजशास्त्र पर निर्भर है वहाँ समाजशास्त्र भी राजनीति विज्ञान पर निर्भर है। समाजशास्त्र अपने अध्ययन के बहुत बड़े क्षेत्र की विषय-सामग्री के लिए राजनीति विज्ञान का ऋणी है। राज्य तथा सरकार के विषय में उसे जानकारी राजनीति विज्ञान से मिलती है। राज्य में मनुष्य किस प्रकार रहते हैं, राज्य क्या कार्य करता है ये सब राजनीति विज्ञान के विषय में हैं। समाजशास्त्र मानव-जीवन के राजनीतिक पहलू तथा राजनीतिक संगठनों का अध्ययन राजनीति विज्ञान की सहायता से करता है। इन दोनों के सम्बन्धों के विषय में प्रो0 केटलिन का विचार है कि “राजनीति विज्ञान और समाजशास्त्र अखण्ड हैं और वास्तव में एक ही तस्वीर के दो पहलू हैं।” राजनीतिशास्त्र और समाजशास्त्र में अन्तर-राजनीतिशास्त्र और समाजशास्त्र में इतनी घनिष्ठता होने पर यह नहीं कहा जा सकता है कि इनमें कोई भिन्नता है ही नहीं। एक-दूसरे से सम्बन्धित होने पर भी ये विषय एक-दूसरे से अलग हैं। हम इनके अन्तर को संक्षेप में स्पष्ट कर रहे है-
1. समाजशास्त्र का क्षेत्र राजनीतिशास्त्र की अपेक्षा अधिक व्यापक है। समाजशास्त्र के अन्तर्गत सभी सामाजिक विषयों का अध्ययन होता है। समाजशस्त्र सामाजिक विज्ञानों में सबसे अधिक महत्त्वाकांक्षी इस अर्थ में है कि उसका कलेवर अत्यन्त विशाल है। दूसरी ओर राजनीतिशास्त्र का क्षेत्र इतना व्यापक नहीं है। समाजशास्त्र राज्य, परिवार, चर्च, ट्रेड यूनियन तथा शिक्षालय आदि सभी से सम्बन्धित है परन्तु राजनीतिशास्त्र का सम्बन्ध केवल राज्य से है। समाजशास्त्र में कानून, प्रथा, आचार, धर्म और संस्कृति सभी का अध्ययन होता है परन्तु राजनीतिशास्त्र में कानून पर आधारित राजनीतिक सम्बन्धों का ही अध्ययन होता है। गिलक्राइस्ट के शब्दों में, “समाजशास्त्र समाज का विज्ञान है और राजनीतिशास्त्र राज का अथवा राजनीतिक समाज का विज्ञान है। समाजशास्त्र में मनुष्य का एक सामाजिक प्राणी के रूप में अध्ययन होता है और चूँकि राज्य विशेष प्रकार का सामाजिक संगठन है इसलिए राजनीति की अपेक्षा कुछ अधिक विशिष्ट शास्त्र है।”
2. समाजशास्त्र का अध्ययन इकाई मानव अथवा समाज है। राजनीतिशास्त्र के अध्ययन की इकाई मानव का वह संगठन है जिसे हम राज्य कहते हैं। गेटेल का मत है, “समाजशास्त्र एक समन्वय समाज विज्ञान है, वह सम्पूर्ण सामाजिक जीवन से सम्बन्धित है। राज्य विज्ञान एक विशेष समाज विज्ञान है जो मनुष्य के राजनीतिक जीवन से सम्बन्ध रखता है और इस दृष्टि से वह समाजशास्त्र का एक अंग मात्र है।”
3. समाजशास्त्र मानव एवं समाज के ऐतिहासिक विकास का अध्ययन करता है। समाजशास्त्री यह जानने का प्रयास करता है कि मानव किस प्रकार और किन अवस्थाओं से होता हुआ सामाजिक प्राणी बना है। परन्तु राजनीतिशास्त्र ऐतिहासिक विकास से सम्बन्ध नहीं रखता और यह मानकर चलता है कि मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है।
4. समाजशास्त्र यह बताता है कि क्या हुआ और किस प्रकार हुआ। उसकी अध्ययन विधि ऐतिहासिक है। दूसरी ओर राजनीतिशास्त्र यह बताता है कि क्या होना चाहिए। इसकी अध्ययन विधि दार्शनिक है। समाजशास्त्र केवल यही बताता है कि समाज का रूप क्या रहा है? यह इस ओर संकेत नहीं करता कि समाज का स्वरूप कैसा होना चाहिए? दूसरी ओर राजनीतिशास्त्र यह बताता है कि राज्य किस प्रकार का होना चाहिए। दूसरे शब्दों में हम यह कह सकते हैं कि समाज विज्ञान एक वर्णनात्मक विज्ञान है और राजनीतिशास्त्र एक आदर्शपूरक विज्ञान है। समाजशास्त्र एक विज्ञान है परन्तु राजनीतिशास्त्र विज्ञान के साथ ही राजनीतिक दर्शन भी है।
5. समाजशास्त्र राजनीतिशास्त्र की तुलना में अधिक प्राचीन है, क्योंकि इसमें संगठित एवं असंगठित समुदायों तथा चेतन एवं अचेतन सभी प्रकार की गतिविधियों का अध्ययन सम्मिलित है, लेकिन जहाँ तक राजनीतिशास्त्र का प्रश्न है, उसमें मात्र राजनीतिक दृष्टि से संगठित एवं चेतनशील समाज की ही विवेचना की जाती है। राजनीतिशास्त्र का तो प्रारम्भ ही इस मान्यता से होता है कि मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है किन्तु समाजशास्त्र यह भी बतलाता है कि मनुष्य एक सामाजिक प्राणी कैसे बना।
6. राजनीतिशास्त्र के अन्तर्गत राज्य द्वारा निर्मित विधियों का अध्ययन किया जाता है, किन्तु समाजशास्त्र विधियों के साथ-साथ धार्मिक प्रथाओं, परम्पराओं एवं सामाजिक आचारों का भी अध्ययन करता है।
7. जहाँ तक समाजशास्त्र का सवाल है, इसका संबंध ठोस तथ्यों से है, किन्तु राजनीतिशास्त्र का संबंध आदर्शों से है। समाजशास्त्र यह बतलाने का प्रयत्न करता है कि क्या हो रहा है, और राजनीतिशास्त्र के सम्मुख प्रश्न यह होता है कि राज्य को कैसा होना चाहिए।’
8. राजनीतिशास्त्र मनुष्य का अध्ययन मात्र नागरिक के रूप में करता है, जबकि समाजशास्त्र मनुष्य का अध्ययन नागरिक, पड़ोसी, समाजसेवी, आर्थिक-धार्मिक प्राणी आदि के रूप में भी करता है।
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